भोपाल। इन दिनों मध्यप्रदेश में नर्सिंग कॉलेज घोटाला छाया हुआ है। इन घोटालों की जांच के लिए सीबीआइ पांच-छह नई टीम बनाएगी। इन टीमों द्वारा मध्यप्रदेश में मौजूद 599 कॉलेजों की जांच की जानी है। इतने बड़े पैमाने पर की जाने वाली जांच में लगभग एक साल तक समय लग सकता है। साथ ही इस जांच में सहयोग के लिए सीबीआई ने नर्सिंग अधिकारियों को सहयोग देने को कहा है।
आपको बता दें कि नर्सिंग घोटाले की जांच इससे पहले सीबीआई की सात टीमें कर रहीं हैं। वह 368 कॉलेजों में हुई धांधली की जांच में जुटी थी। सीबीआई ने अपनी जांच के दौरान चार अधिकारी (दो सीबीआइ संवर्ग और दो राज्य पुलिस संवर्ग के) पर रिश्वत लेने का आरोप लगाया था। मिली जानकारी के मुताबिक, आरोपियों को छोड़कर पहले जो जांच में सहयोग कर रहे थे उन्ही अधिकारियों को टीम में शामिल किया जायेगा।
एक अधिकारी ने जांच में हो रही देरी कारण बताते हुए कहा कि जांच कई जिलों में करनी होती है, एक कॉलेज में कम से कम दो दिन का समय लग जाता है इसलिए देरी हो रही है। कई बार तो कॉलेज के कई अधिकारी भी मिल नहीं पाते हैं तो उनका इंतजार करना पड़ता है। सूत्रों के मुताबिक, नर्सिंग घोटाले की जांच के लिए सीबीआई विशेष निरीक्षण दल (एसआइटी) भी बना सकती है।