रीवा। जिले के त्यौथर विधानसभा के मनिका गांव रविवार को उस समय गमगीन हो गया जब तकरीबन 45 घंटे के बाद मासूम मयंक पिता विजय आदिवासी का शव बोरवेल की गहराई से रेस्क्यू टीम ने बाहर निकाल। दोपहर मासूम बच्चे का शव बोरवेल से टीम बाहर लेकर निकाली और पुलिस उसे पीएम कराने के लिए अस्पताल ले गई है। जिसके बाद बच्चे का शव परिजनों को प्रशासन सौपेगा।
45 घंटे चला रेस्क्यू
खेत के खुले बोरवेल में खेलने के दौरान 5 वर्षीय मासूम मयंक बोरवेल में गिर गया था और वह बोरवेल की गहराई में चला गया। इस घटना के बाद मौके पर पहुंचे ग्रामीण एवं प्रशासन के लोग बच्चे को निकालने के लिए प्रयास किए जब वे सफल नही हो पाए, वही जानकारी लगते ही रीवा कलेक्टर प्रतिभा पाल, एसपी विवेक सिंह ने जहां बच्चे को निकालने के लिए रेस्क्यू चलाया और एनडीआरएफ एवं अन्य एक्सपर्ट टीम को मौके पर बुलाया। वहीं प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव लगातार जानकारी लेते रहे। मौके पर डिप्पटी सीएम राजेन्द्र शुक्ला, रीवा सांसद जर्नादन मिश्रा, विधायक सिद्वार्थ तिवारी समेत जनप्रतिनिधि पहुचे थे।
तकरीबन 45 घंटे तक प्रशासन के द्वारा चलाए गए रेस्क्यू में 8 जेसीबी मशीन से खुदाई की गई तो वही 60 फिट की खुदाई के बाद जब पानी निकलना शुरू हो गया तो ड्रिल मशीन की मदद ली गई और सुरंग बनाई गई। जिसके बाद रेस्क्यू टीम बच्चे तक पहुची। जंहा मिट्रटी, पत्थर और पानी के बीच बच्चे का शव टीम के हाथ लगा।
की जाएगी कार्यवाही
कलेक्टर प्रतिभा पाल ने बोरवेल में गिरे मयंक के मृत्यु होने की पुष्टि करते हुए कहां की बच्चे के परिजन अगर शिकायत करते है तो बोरवेल मलिक के खिलाफ अपराध दर्ज किया जाएगा। जिस तरह से खुले में बोरवेल था उसको लेकर प्रशासन एक्शन लेगा।